पूर्व सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने ट्वीट करके भाजपा को पार्टी की पुरानी परंपरा को याद दिलाया। जब पार्टी में पदाधिकारियों के चयन के लिए पार्टी और संसदीय दल के चुनाव होते थे। उन्होंने ट्वीट करके सांगठनिक चुनावों की ‘कमी’ को लेकर भाजपा नेतृत्व पर कटाक्ष भी किया। ट्वीट में कहा कि ‘जनता पार्टी और फिर भाजपा के शुरुआती दिनों में हमारे पास पार्टी थी, तब पदाधिकारियों के चयन के लिए संसदीय दल के चुनाव होते थे। उस समय पार्टी के संविधान के मुताबिक ये अनिवार्य था। आज भाजपा में कभी भी कोई चुनाव नहीं होता है। प्रत्येक पद के लिए नामांकन के आधार पर सदस्य नामित किया जाता है और इसके लिए प्रधानमंत्री मोदी से अनुमति ली जाती है।
वहीं, कई मुद्दों पर लंबे समय से मोदी सरकार की आलोचना करने वाले राजनेता ने गुरुवार को कोलकाता में तृणमूल कांग्रेस नेता और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से भी मुलाकात की।